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अगर आपको भी नहीं है भूतों में विश्वास, तो जरूर जाये इन भूतिया जगहों पर पलभर में हो जायेगा भरोसा

 

लाइफस्टाइल न्यूज डेस्क।। आपके ज़हन में राजस्थान के बारे में सुनते ही रेतीले टीले और रंग-बिरंगे पारम्परिक कपडे पहने हुए लोग आ जाते होंगे. वीरों की भूमि इस भूमि को कहा जाता है. राजस्थान के राजपुताने की भारत के इतिहास में अलग ही शान है. यह भी पर आपने कभी सोचा है, कि कुछ भयानक और डरावनी जगहें भी इस रंगीले राजस्थान में हैं. जहां जाते ही आपके चेहरे का रंग उड़ जायेगा. कुछ ऐसी वीरानी इन जगहों की फिज़ाओं में छाई है, जो एक सिहरन सी आप के अन्दर पैदा कर देगी. तो राजस्थान की उन जगहों की यात्रा आज हम आपको करवाते हैं, जहां एक बार जाने के बाद दोबारा जाने से पहले आप हज़ार बार सोचेंगे.

1. भानगढ़ का किला, अलवर

राजस्थान ही नहीं बल्कि पूरे भारत की सबसे कुख्यात भुतहा जगह के रूप में अलवर के भानगढ़ का किला जाना जाता है. महाराजा माधो सिंह द्वारा इसे 17वीं शताब्दी में बनवाया गया था. डरावनी आत्माओं का इस किले में वास माना जाता है. एक रहस्यमयी घटना इस जगह के भुतहा होने के पीछे जुड़ी हुई है. यहां एक तांत्रिक किसी समय रहता था. वह भानगढ़ की राजकुमारी रत्नावती की सुन्दरता पर मोहित हो गया. उसने काले जादू का राजकुमारी को अपना बनाने के लिए सहारा लिया, लेकिन वह असफल हुआ. राजा को इस बात का पता चलने पर उसे मौत के घाट उतार दिया गया. मरते-मरते तांत्रिक भानगढ़ रियासत को श्राप दे गया, कि यहां के रहने वाले लोगों की आत्माओं को कभी मुक्ति नहीं मिलेगी. उस दिन से इस शहर के उजड़ने की कहानी शुरू हुई, जो शहर के पूरी तरह खत्म होने पर ही रुकी. रात होते ही यह किला बंद कर दिया जाता है. अंधेरे में यहां की फिज़ाओं में डर का वर्चस्व चारों तरफ़ अपनी मौजुदगी दिखा रहा होता है. आज यहां इमारतों के केवल खंडहर बचे हैं. रात हो जाने पर यहां केवल भूतों का राज रहता है. इस वजह से इस किले में पर्यटकों को रात में जाने की इजाज़त नहीं दी जाती है. 

2. कुलधरा गांव, जैसलमेर

पिछले 170 सालों से यह गांव भुतहा होने की वजह से वीरान पड़ा है. अपनी बेटियों को यहां के बाशिन्दों ने एक अय्यास दीवान से बचाने के लिए इस गांव को खाली कर दिया था. जाते-जाते वो श्राप दे गये, कि यहां अब कोई नहीं बस पायेगा. उस दिन से लेकर आजतक यह गांव वीरान पड़ा है. स्थानीय प्रशासन ने इस गांव की सरहद पर एक गेट लगा दिया है. रात होने के बाद वहां जाने की हिम्मत कोई नहीं कर पाता है. गांव वालों के द्वारा बिताये गये उनकी ज़िन्दगी के पल आज भी यहां की वीरान गलियों में जीवन्त हो उठते हैं. यहां घुमने आने वाले पर्यटकों को महिलाओं के बात करने, उनकी चूड़ियों के खनकने की आवाज़ें आती हैं. 

3. बृजराज भवन, कोटा

ब्रिटिश रेजिडेंट मेजर चार्ल्स बर्टन सन 1857 में यहां रहते थे. 1857 में हुई क्रांति के समय यहां हुए विद्रोह में उन्हें मार दिया गया था. मेजर की आत्मा कहा जाता है कि तब से इस जगह भटक रही है. कुछ इतिहासकारों का कहना है विद्रोह के समय मेजर के सिर को काटकर पूरे शहर में घुमाया गया था. ख़ुद कोटा की महारानी ने 1980 में मेजर के भूत को देखा था. मेजर की आत्मा जब भी रात की ड्यूटी पर तैनात किसी कर्मचारी को सोते हुए देखती है, तो उसे थप्पड़ मारने लग जाती है. यहां आने वाले कई पर्यटकों ने भी मेजर के भूत को देखने की बात स्वीकारी है. इस तरह की दर्दनाक मौत के बाद से मेजर की आत्मा पूरी मुस्तैदी से आज भी अपनी ड्यूटी पर तैनात है. 

4. जगतपुरा, जयपुर

यहां अकसर एक सफेद साया रात के अंधेरों में घूमते हुए देखा गया है. इस जगह का नाम भी आपने शायद न सुना हो, मगर रात होते ही इस रिहायशी इलाके में लोगों ने गलियों में भूतों के भटकने के दावे किए हैं.

आत्माएं अपने किसी लगाव की वजह से ही दूसरे शरीर में जाने से अपने आप को रोके रखती है. उनकी ज़िन्दगी से जुड़ी कुछ ख़ास घटनाएं उन्हें यहां बने रहने पर मजबूर करती हैं.  ये बिल्कुल प्यार के उस एहसास की तरह है, जिसे केवल प्यार करने वाले ने ही जाना है.  आत्माओं का एहसास वो चीज़ है, जिसे जिसने महसूस किया उसने माना है. जिसने नहीं किया उसने नकारा है.